कोरोना वायरस के कारण कई चीजें बदल गई है। यहां तक की संसद भवन के तौर तरीके भी बदलने वाले हैं। जी हां, कोरोना के कारण मानसून सत्र के लिए सदन को नए तरीके से तैयार किया जा रहा है। इसके लिए तैयारियां चल रही है।
कोरोना वायरस के कारण कई चीजें बदल गई है। यहां तक की संसद भवन के तौर तरीके भी बदलने वाले हैं। जी हां, कोरोना के कारण मानसून सत्र के लिए सदन को नए तरीके से तैयार किया जा रहा है। इसके लिए तैयारियां चल रही है। राज्यसभा अध्यक्ष ने अगस्त के तीसरे सप्ताह तक तैयारी पूरी करने का निर्देश दिया है। उधर राज्य सभा सचिवालय की तरफ से कहा गया है कि सदन के कक्ष में चार बड़ी डिस्प्ले स्क्रीन लगाने के अलावा कई उपाय किए जा रहे हैं।
सदन में कई नई व्यवस्था की जा रही है। सदन की चार गैलरियों में छह छोटी स्क्रीन, गैलरियों में ऑडियो कंसोल, पराबैंगनी कीटाणुनाशक विकिरण, ऑडियो-विज़ुअल सिग्नल के संचरण के लिए दो सदनों को जोड़ने वाले विशेष केबल, पॉली कार्बोनेट शीट को सदन के कक्ष से आधिकारिक गैलरी को अलग करना शामिल है। ये सभी व्यवस्थाएं, कोरोनो वायरस संक्रमण को ध्यान में रखते हुए रोकथाम और बचाव के तहत अपनाई जा रही हैं और यह सब सदन के इतिहास में भी पहली बार हो रहा है।
RS Chairman directs full preparedness by third week of August for Monsoon session of Parliament. Work is in progress at fast pace for ensuring several additional installations in prescribed time like four large display screens in the chamber of the House: Rajya Sabha Secretariat pic.twitter.com/rpZ2RSV9Pb
— ANI (@ANI) August 16, 2020
सचिवालय के मुताबिक राज्यसभा के सभापति एम वेंकैया नायडू और लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने 17 जुलाई को एक बैठक में मानसून सत्र आयोजित करने के विकल्पों पर सभी पक्ष जानने के बाद सदन को सत्र के लायक बनाने के निर्देश दिए। इसमें दोनों सदनों के कक्षों और गैलरियों का उपयोग करने का निर्णय लिया।
भारतयी संसद के इतिहास में पहली बार होगा जब दोनों ही सदनों के चैंबर और गैलरियों का इस्तेमाल सत्र के लिए किया जाएगा। राज्यसभा के चैंबर और गैलरियां और लोक सभा के चैंबर का इस्तेमाल सत्र के दौरान सदस्यों के बैठने के लिए किया जाएगा। यहां 60 सदस्यों को राज्यसभा के चैंबर में बैठाया जाएगा, और 51 सदस्य राज्यसभा की गैलरियों में बैठेंगे और बाकी 132 सदस्यों को लोकसभा चैंबर की गैलरियों में बिठाया जाएगा।
राजनीतिक दलों को उनकी क्षमता के अनुसार बैठने से संबंधित निर्देश दिए जाएंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, सदन के नेता थावर चंद गहलोत और विपक्ष के नेता और अन्य पार्टी नेताओं के लिए उच्च सदन के चैंबर में नामांकित सीटें निर्धारित की जाएंगीं।
चैंबर में ही मंत्रियों के लिए भी नामांकित सीटें निर्धारित की जाएंगीं। पूर्व प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह और एचडी देवेगौड़ा, जो कि राज्यसभा के सदस्य भी हैं, उनके लिए भी सदन के चैंबर में ही नामांकित सीटें निर्धारित की जाएंगीं। मंत्री जो कि राज्यसभा के सांसद नहीं हैं, वे सत्ताधारी दल के लिए निर्धारित सीटों पर बैठेंगे। राज्यसभा की प्रत्येक गैलरी में पार्टियों के बैठने के निर्देश की पट्टी लगाई जाएगी।
जो आधिकारिक गैलरी और प्रेस गैलरी में बैठेंगे, उन्हें आवश्यक निर्देशों और कड़ी सामाजिक दूरी के नियमों का पालन करना पड़ेगा। अधिकारियों को कागज के कम से कम प्रयोग किये जाने के निर्देश दिये गये हैं। स्टैंडिंग कमेटी की मीटिंगों में डिजिटल कॉपियों और रिपोर्ट्स को प्रोत्साहित किया जायेगा।